शाहजहाँपुर। उदित शर्मा: उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा पुलिस को दी गई छूट आम जनता के लिए मुसीबत बनती जा रही है। क्योंकि इस समय जनता सरकार से कम त्रस्त है। लेकिन उसकी पुलिस से कुछ हद से ज्यादा त्रस्त है। जिसका जीता जागता उदाहरण आप किसी भी जनपद की खबरों को पढ़कर या समाचार चैनल द्वारा देखकर अंदाजा लगा सकते हैं कि किस तरह से उत्तर प्रदेश में पुलिस बेकसूर गरीब जनता को फर्जी मुकदमों में फंसाकर जेल भेज रही है। आपको ज्ञात करा दूँ कि इससे पहले शाहजहाँपुर में ही कई लोगों को थाना निहोही पुलिस ने एक गाँव से मोबाइल चोरी के संदर्भ में उठा लिया था और फ़िर उनकी जबरदस्त तरीके से पिटाई कर दी गई थी।
जिससे नाराज तिलहर विधानसभा से विधायक व निगोही नगर निवासी रोशन लाल वर्मा ने एसपी ऑफिस का घेराव कर काफी हंगामा काटा था। जिसमें यह बात मुख्यमंत्री तक संज्ञान में पहुँच गई थी, जिसपे फिर एसपी एस आनंद ने एक्शन लेते हुए एसआई दरोगा सहित एक पुलिस कर्मी को लाइन हाजिर कर दिया गया था। ऐसा ही एक प्रकरण जनपद बदायूँ के थाना उसावां से निकल कर सामनें आया था। जहाँ एक बाइक सवार व्यक्ति द्वारा लाइसेंस दिखानें के बाबजूद भी उसका लाइसेंस फाड़कर फेंक दिया गया और उसके पास लाइसेंस न होना दिखाक उसकी गाड़ी का चालान कर दिया गया। जिसकी ख़बर सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है।
इसी तरह शाहजहाँपुर में भी एक ऐसा ही मामला सामने निकलकर आया है। जहाँ गाड़ी को छोड़नें के एवज में थाना मदनापुर पुलिस ने पीड़ित व्यक्ति से मोटर साइकिल ओर उसको छोड़नें के एवज़ में पुलिस ने 4500/रुपये का आर्थिक दंड लेकर बाइक और पीड़ित व्यक्ति को छोड़ा है। जहाँ दो बार में दिए गए रुपए में दूसरी बार रुपये देते समय का पीड़ित व्यक्ति ने थानें के अंदर ही भ्रष्ट सिपाही का रिश्वत लेते हुए का वीडियो बनाकर वायरल कर दिया गया है।
दरअसल मामला शाहजहाँपुर के थाना मदनापुर क्षेत्र के गॉंव ढुकरी कलां का है। जहां के रहने वाले लालू सिंह ने जनसुनवाई पोर्टल पर शिकायत दर्ज करते हुए मीडिया को बताया है। कि 3 अगस्त को उनके रिश्तेदार कौशलेंद्र सिंह को मदनापुर पुलिस द्वारा बिना किसी कारण के मोटर साईकल सहित गिरफ्तार कर लिया था जिसकी सूचना मिलने पर लालू सिंह गिरफ्तारी का कारण जानने जैसे ही थाने पहुंचे तो वैसे ही वहां पर मौजूद एस आई सुशील विश्नोई जोर जोर से चिलानें लगे कहने लगे कि लो आ गए रिश्तेदार को छुड़ाने के लिए तभी लालू ने कहा कि जब रिश्तेदार होगा तो कोई न कोई तो आएगा ही इतना कहते हुए वहाँ मौजूद सुशील विश्नोई आग बबूला हो गए और गंदी गंदी गालियां देने लगे।
काफी मिन्नते करने के बाद एस आई साहब ने कंप्यूटर कक्ष में तैनात गुलबदन सिंह, अनुज कुमार, व कुलदीप सिंह से बात करने को कहा फिर मरता क्या न करता रिस्तेदार को छुड़ाना भी तो था आखिर लालू सिंह पहुंच ही गया गुलबदन सिंह के पास गुलबदन सिंह ने पहले तो लालू सिंह को तबियत से हड़काया फिर भेज दिया, अनुज कुमार व कुलदीप सिंह के पास लालू सिंह डरा सहमा जैसे ही अनुज कुमार के पास पहुंचा तो पहले तो वर्दी के नशे में चूर अनुज कुमार ने लालू सिंह को जमकर खरी खोटी सुनाई फिर अपनी औकात के अनुसार 3000 रिश्वत की मांग कर डाली काफी, खुशामत के बाद 2500 रुपये में मामला तय हो गया।
लालू सिंह से 2500 रुपये लेकर रिस्तेदार कौशलेंद्र सिंह को तो छोड़ दिया लेकिन मोटर साईकल सुबह देने की बात कही सुबह जब लालू सिंह मोटर साईकल लेने गया तो, लालू सिंह से 1500 रुपये की और मांग की लालू सिंह ने 1500 रुपये देकर मोटर साईकल तो थाने से ले आया लेकिन 1500 रुपये देने का वीडियो कैमरे में कैद कर लिया। लालू सिंह ने योगी आदित्यनाथ के जन सुनवाई पोर्टल पर शिकायत दर्ज करके भ्रस्ट पुलिस कर्मियों के विरुद्ध कार्यवाही की मांग की। अब देखना यह होगा कि क्या जिले के तेज तर्रार ईमानदार पुलिस अधीक्षक एस आनंद पीड़ित किसान लालू सिंह को न्याय दे पाएंगे या यह फरमान केवल लाइन हाजिर तक सीमित रह जाएगा ।